बिहार सरकार ने राज्य में चल रहे जमीन सर्वे कार्य की समय-सीमा को बढ़ाकर अब 2027 तक कर दिया है। पहले यह सर्वे 2026 तक पूरा करने का लक्ष्य था, लेकिन काम की व्यापकता और गांवों की संख्या बढ़ जाने के कारण समय-सीमा में डेढ़ साल का विस्तार किया गया है।
Bihar Land Survey New Udpate Today
| आर्टिकल का प्रकार | Bihar Land Survey New Udpate Today |
| आर्टिकल का नाम | Land Survey |
| आवेदन प्रक्रिया | ऑनलाइन |
| Benefits | बिहार में जमीन सर्वे की अवधि बढ़ी: अब 2027 तक पूरा होगा सर्वे कार्य – सम्पूर्ण जानकारी |
| Departments | Land Survey |
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बिहार में जमीन सर्वे की अवधि बढ़ी: अब 2027 तक पूरा होगा सर्वे कार्य
बिहार में जमीन सर्वे की अवधि बढ़ी: अब 2027 तक पूरा होगा सर्वे कार्य – सम्पूर्ण जानकारी
बिहार सरकार ने राज्य में चल रहे जमीन सर्वे कार्य की समय-सीमा को बढ़ाकर अब 2027 तक कर दिया है। पहले यह सर्वे 2026 तक पूरा करने का लक्ष्य था, लेकिन काम की व्यापकता और गांवों की संख्या बढ़ जाने के कारण समय-सीमा में डेढ़ साल का विस्तार किया गया है।
राज्य में 2012 से जमीन सर्वे का कार्य जारी है और अब अगस्त 2024 से 37384 नए गांवों को भी सर्वे में शामिल किया जा चुका है। यह कार्य पूरे राज्य के लिए ऐतिहासिक और उपयोगी साबित होगा।
सर्वे का उद्देश्य
- जमीन के असली मालिक की पुष्टि करना
- भूमि विवाद को खत्म करना
- जमीन का डिजिटल रिकॉर्ड तैयार करना
- संपत्ति के लेन-देन को पारदर्शी बनाना
- राजस्व बढ़ाने में सहायता
पूरे राज्य में सर्वे के लिए 14 हजार कर्मी तैनात
बिहार सरकार के भूमि सुधार एवं राजस्व विभाग के अनुसार—
- सर्वे कार्य में विशाल मानवबल लगाया गया है
- प्रत्येक जिले में टीम गठित
- हाईटेक तकनीक का उपयोग
सर्वे के पूरा होने के बाद प्रत्येक जमीन का डिजिटल रिकॉर्ड, नक्शा और रसीद आसानी से मिल सकेगी।
जमीन मालिकों से स्व-घोषणा (Self Declaration) जरूरी
समाचार के अनुसार:
- 90 साल पहले बनाए गए रिकॉर्ड अब बदल दिए जाएंगे
- जमीन मालिकों को खुद अपने दावे-स्वामित्व की जानकारी देनी होगी
- यदि कोई दावा नहीं करेगा तो रिकॉर्ड के अनुसार नाम दर्ज कर दिया जाएगा
📌 Self Declaration दस्तावेज में शामिल:
- जमीन की सीमा
- मालिक का विवरण
- कब्जे की स्थिति
डिजिटल आधार पर तैयार होगा भूमि रिकॉर्ड
इस सर्वे में आधुनिक तकनीक शामिल:
✔ 100 प्रतिशत Digital Survey
✔ GIS एवं ड्रोन तकनीक
✔ नक्शों को आधुनिक ढंग से तैयार किया जाएगा
नए सर्वे के बाद:
- जमीन संबंधी दस्तावेज ऑनलाइन उपलब्ध
- किसी भी प्रकार की छेड़छाड़ असंभव
- धोखाधड़ी पर रोक
एक जमाबंदी में ही सभी प्लॉटों का रिकॉर्ड
नई व्यवस्था के अनुसार:
- किसी भी व्यक्ति के सभी प्लॉट एक ही जमाबंदी में अंकित होंगे
- पुराने सिस्टम की जटिलताओं को खत्म किया जाएगा
इससे नागरिकों को मिलेंगे बड़े लाभ:
- खरीद-फरोख्त आसान
- कागज़ी प्रक्रिया कम
- विवाद की संभावनाएँ समाप्त
रसीद से लेकर कंफर्मेशन कोर्ट तक ऑनलाइन सुविधा
बिहार सरकार ई-गवर्नेंस को बढ़ावा दे रही है:
- ऑनलाइन लगान भुगतान
- Mutation (दाखिल-खारिज) प्रक्रिया ऑनलाइन
- Court/DRC Case Status ऑनलाइन ट्रैक
राजस्व विभाग की वेबसाइट एवं मोबाइल ऐप से:
- सभी दस्तावेज तुरंत डाउनलोड किए जा सकेंगे
- पारदर्शिता और समय की बचत
बिहार के लोगों के लिए महत्वपूर्ण परिवर्तन
| सुविधा | पहले | अब |
|---|---|---|
| सर्वे रिकॉर्ड | पुराने दस्तावेज | डिजिटल डॉक्यूमेंट |
| जमीन विवाद | अधिक | बेहद कम |
| नापी-पैमाई | मैनुअल | ड्रोन/टेक्नोलॉजी |
| प्लॉट रिकॉर्ड | अलग-अलग | एक जमाबंदी |
| नागरिक सुविधा | सीमित | पूरी तरह ऑनलाइन |
आम लोगों को क्या करना होगा?
- Self Declaration समय पर जरूर जमा करें
- सभी आवश्यक दस्तावेज तैयार रखें
- टीम के सर्वे कार्य में सहयोग करें
- गलत जानकारी देने से बचें
यह प्रोजेक्ट क्यों महत्वपूर्ण?
- बिहार में भूमि विवाद 60% मामलों का कारण
- सर्वे पूरा होने पर विवादों में भारी कमी आएगी
- आर्थिक गतिविधियाँ बढ़ेंगी
- निवेशकों के लिए आसान भूमि प्रबंधन
2027 तक सर्वे पूरा होने से क्या होगा?
- पूरी राज्य की जमीन का एकीकृत डिजिटल डेटाबेस तैयार
- नागरिकों को सभी भूमि सुविधा एक क्लिक पर
- सरकार को राजस्व प्रबंधन में मदद
यह बिहार के विकास में मील का पत्थर साबित होगा।
निष्कर्ष
बिहार में जमीन सर्वे का काम अब तेजी से पूर्णता की ओर है। 2027 तक राज्य की पूरी भूमि का रिकॉर्ड सर्वे के आधार पर तैयार हो जाएगा। यह बदलाव आम नागरिकों के हित में है और भविष्य में जमीन से जुड़े हर काम को आसान, पारदर्शी और विवाद-मुक्त बनाएगा।
FAQs – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
Q1. जमीन सर्वे कब तक पूरा होगा?
➡ सरकार ने समय-सीमा बढ़ाकर अब 2027 तक कर दी है।
Q2. Self Declaration क्यों जरूरी है?
➡ जमीन पर आपका स्वामित्व प्रमाणित करने के लिए।
Q3. क्या सर्वे में तकनीकी उपकरणों का उपयोग हो रहा है?
➡ हाँ, ड्रोन और डिजिटल मैपिंग के जरिए Survey 100% डिजिटल होगा।
Q4. जमीन के रिकॉर्ड कहाँ उपलब्ध होंगे?
➡ राजस्व विभाग की ऑनलाइन प्रणाली पर उपलब्ध कराए जाएंगे।
Q5. क्या जमीन विवाद खत्म हो जाएंगे?
➡ हाँ, भूमि रिकॉर्ड सही होने से विवाद में बड़ी कमी आएगी।